Kailash Mansarovar Yatra पांच साल के अंतराल के बाद होने जा रही है। हालांकि, इस बार यात्रा पहले से ज्यादा महंगी होगी। चीन ने शुल्क 17 से बढ़ाकर 20 हजार कर दिया है। दरअसल, यात्रा दो रास्तों से होती है। पहला उत्तराखंड का लिपुलेख मार्ग और दूसरा नाथुला मार्ग।

Kailash Mansarovar Yatra पर कितना खर्च आएगा?

लिपुलेख मार्ग से Mansarovar Yatra पर 1.84 लाख रुपये का खर्चा आएगा। जिसमें 95 हजार चीन का शुल्क होगा। 2019 में 1.30 लाख रुपये खर्च हुए थे। तब चीन का शुल्क 77 हजार रुपये था।

नाथुला मार्ग से कितना खर्च आएगा?

दूसरी ओर, नाथुला मार्ग से यात्रा की तैयारियां जोरों पर हैं। चीन इस मार्ग से Kailash Mansarovar की यात्रा करने पर प्रति यात्री 2.05 लाख रुपये लेगा। इस मार्ग से यात्रा का कुल खर्च 2.84 लाख रुपये होगा। दोनों मार्गों से लागत 17000 रुपये से बढ़कर 25000 रुपये हो गई है।

दो जलवायु अनुकूलन केंद्र स्थापित किए जा रहे हैं

सिक्किम सरकार ने बुनियादी ढांचे के विकास में तेजी लाई है। विधायक थिनले शेरिंग भूटिया ने कहा कि राज्य की राजधानी गंगटोक और नाथू ला के बीच दो जलवायु अनुकूलन केंद्र स्थापित किए जा रहे हैं।

इसमें अधिक समय लगेगा

पहले लिपुलेख से Yatra में 20-21 दिन लगते थे, जबकि इस बार 23 दिन लगेंगे। इसका कारण यात्रियों का दिल्ली में 12 दिन बिताना शामिल है। तिब्बत में सिर्फ नौ दिन ही बिताएंगे। वहीं, नाथू ला से यात्रा में 25 दिन लगेंगे। पहले इसमें 23 दिन लगते थे। इस बार यात्री तिब्बत में 10 दिन और भारत में 15 दिन बिताएंगे।

Kailash Mansarovar Yatra 2025 कब शुरू होगी?

Kailash Mansarovar Yatra इस साल जून से शुरू हो रही है, जो अगस्त महीने तक चलेगी। इस दौरान करीब 250 यात्रियों को दर्शन का मौका मिलेगा। यात्रियों का चयन Mansarovar Yatra के लिए पंजीकरण प्रक्रिया के तहत किया जाता है।

Kailash Mansarovar Yatra के लिए पंजीकरण

विदेश मंत्रालय की आधिकारिक वेबसाइट https://kmy.gov.in पर जाकर ऑनलाइन पंजीकरण किया जाता है। हर साल आवेदन प्रक्रिया मार्च से अप्रैल तक चलती है। इस साल पंजीकरण की आखिरी तारीख 13 मई थी। पंजीकरण के लिए पासपोर्ट और फिटनेस सर्टिफिकेट अनिवार्य है।

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