ट्रेन से सफर करने वाले यात्रियों के लिए भारतीय रेल ने एक बड़ी सुविधा देने की तैयारी शुरू कर दी है। अब ट्रेन के अंतिम चार्ट बनने के समय में बदलाव किया जाएगा, जिससे यात्रियों और स्टाफ दोनों को राहत मिलेगी। वर्तमान में अंतिम चार्ट ट्रेन छूटने के पांच मिनट पहले बनाया जाता है, जो कई बार यात्रियों को परेशानी में डालता है।

क्या है वर्तमान नियम?

रेलवे के नियमों के अनुसार, ट्रेन का प्राइमरी चार्ट ट्रेन छूटने से चार घंटे पहले तैयार होता है। उदाहरण के लिए, दिल्ली से अहमदाबाद जाने वाली राजधानी एक्सप्रेस शाम 7:55 बजे रवाना होती है, तो इसका चार्ट दोपहर 3:55 बजे तैयार होता है। इस चार्ट में आरक्षण की स्थिति स्पष्ट होती है। लेकिन यदि कोई यात्री तत्काल या प्रीमियम तत्काल में टिकट बुक कराता है, तो उनकी जानकारी अंतिम चार्ट में शामिल की जाती है।

वर्तमान में अंतिम चार्ट ट्रेन छूटने से महज पांच मिनट पहले तैयार किया जाता है। लेकिन कई बार यह चार्ट समय पर डाउनलोड नहीं हो पाता, जिससे टीटीई (ट्रैवलिंग टिकट एग्जामिनर) को यात्रियों की जानकारी नहीं मिल पाती। इससे यात्रियों और स्टाफ को असुविधा होती है।

रेलवे बोर्ड की नई योजना

भारतीय रेल बोर्ड ने इस समस्या को दूर करने के लिए चार्टिंग नियमों में बदलाव की तैयारी शुरू कर दी है। रेल बोर्ड के डायरेक्टर पैसेंजर मार्केटिंग संजय मनोचा ने 20 दिसंबर को पूर्वोत्तर रेलवे समेत सभी रीजनल डिवीजनों को इस पर रिपोर्ट देने के लिए कहा है। रिपोर्ट की अंतिम तारीख 2 जनवरी तय की गई है, जिसके बाद नए नियम लागू किए जाएंगे।

समस्या का समाधान

भारतीय रेल अब अंतिम चार्ट बनाने का समय 5 मिनट से बढ़ाकर 15 मिनट करने पर विचार कर रहा है। दो साल पहले तक यह समय 30 मिनट था, जिससे यात्रियों को किसी प्रकार की समस्या नहीं होती थी। लेकिन समय घटाकर 5 मिनट करने के बाद टिकट चेकिंग स्टाफ और यात्रियों को असुविधा होने लगी।

टीएन पांडेय, संरक्षक आईआरसीटीसी एसओ, ने बताया कि संगठन ने रेल बोर्ड को इस समस्या को हल करने के लिए पत्र लिखा था। अगर यह समय बढ़ाकर 15 मिनट कर दिया जाता है, तो यात्रियों को समय पर जानकारी मिल सकेगी और चार्ट डाउनलोड करने में भी कोई बाधा नहीं आएगी।

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