नई दिल्लीः भारत लगातार 5 Trillion Dollar Economy की दिशा में आगे बढ़ने के लिए काम कर रहा है। लेकिन इसके भारत को अपने कई सेक्टर्स को इतना बढ़ावा देना पड़ेगा कि कोई भी परेशानी न आने पाए। इसके लेकर ये कहा जा रहा है कि Automobile Sector इसमें सबसे बड़ा योगादन कर सकता है। क्योंकि देश के सकल घरेलू उत्पाद में लगभग 7.1 प्रतिशत और विनिर्माण सकल घरेलू उत्पाद में लगभग 49 प्रतिशत का योगदान देकर ये सेक्टर विकास का एक मजबूत स्तंभ बन रहा है।
Automobile Sector में रोजगार की अपार संभावनाएं
Automobile Sector देश में 37 मिलियन से अधिक रोजगार के अवसर पैदा करता है और भारत के कुल निर्यात में लगभग 8 प्रतिशत का योगदान देता है। एक वाणिज्यिक उद्योग से अधिक, Automobile Sector को अब वैश्विक विनिर्माण और नवाचार में भारत की बढ़ती प्रगति के प्रतिबिंब के रूप में देखा जाता है। वित्त वर्ष 2024-25 तक, भारत को बिक्री के मामले में दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा ऑटोमोबाइल बाजार और उत्पादन के मामले में चौथा सबसे बड़ा बाजार होने का अनुमान है।
सरकार दे रही बढ़ावा
देश के Automobile Industry ने विभिन्न क्षेत्रों में 31 मिलियन से अधिक वाहनों का उत्पादन किया। Automobile Sector की विकास दर को बनाए रखने और बढ़ाने के लिए सरकार कई योजनाएं भी चला रही है। सबसे महत्वपूर्ण योजनाओं में से एक Production Linked Incentive Scheme (PLI) है। इस योजना का बजट 25,938 करोड़ रुपये है। यह योजना Electric vehicles (EVs), Hydrogen vehicles और Advanced Vehicle Technologies को बढ़ावा देने पर केंद्रित है। 2025 की शुरुआत तक, इस योजना ने 67,000 करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्तावों को आकर्षित किया था।
सरकार ने शुरू की कई योजनाएं
एक अन्य प्रमुख पहल FAME-II योजना है, जिसे 11,500 करोड़ रुपये के बजट के साथ लॉन्च किया गया है। इस योजना के जरिए सरकार का लक्ष्य Electric two-wheelers, three-wheelers, buses और taxis को अपनाने में मदद करना है। इस योजना के तहत पहले ही 1.3 मिलियन से अधिक ईवी को समर्थन दिया जा चुका है।
आयातित बैटरियों पर निर्भरता कम करने के लिए, सरकार ने 18,100 करोड़ रुपये के परिव्यय के साथ Advanced Chemistry Cell (ACC) Battery Storage के लिए PLI योजना भी शुरू की। इस योजना के तहत तीन कंपनियाँ पहले से ही बैटरी गीगाफैक्ट्री बनाने पर काम कर रही हैं। यह योजना काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि Electric vehicles की कुल लागत में बैटरी का हिस्सा 40 प्रतिशत से अधिक होता है।
यह भी पढ़ेंः-दस्तक देने वाला है Vida VX2 Electric Scooter, इतनी हो सकती है कीमत